जल ही जीवन है ! यह कहावत तो सभी ने सुनी होगी। पानी जितना जरुरी हमारे लिए है उतना ही जरुरी पौधों और जानवरों के लिए भी है। किन्तु पानी के उचित उपयोग की जिम्मेदारी हम किसानों की ही है। मीठे पानी का मुख्य स्रोत भूमिगत जल होता है जिसका स्तर लगातार गिरता जा रहा है। तमाम प्रयासों के बाद हमारी सरकारें गाँवो तक नहरें पहुँचाने में कामयाब रही हैं।
खेत में क्यारियाँ बना कर सिंचाई करने से समय व लागत की बचत तो होती ही है, साथ ही पानी की बर्बादी को रोकने में हमारा सहयोग भी शामिल हो जाता है। क्यारियाँ बनाते समय खेत की ढलान का ध्यान रखें और क्यारियाँ उसी ओर को बनाएं।